
Newslouncher के लिए देश के वरिष्ठ पत्रकार अशोक वानखेड़े अपनी राय और विश्लेषण के आधार पर कार्यक्रम करते हैं, अभी हाल ही में उनका एक वीडियो सामने आया है, जिसमें उन्होंने लैलूंगा विधानसभा क्षेत्र से ताल्लुक रखने वाले भारतीय जनता युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष रवि भगत को संगठन के नोटिस को लेकर अपनी रिपोर्ट दे रहे हैं, इस वीडियो में रमन सिंह, अमन सिंह से होते हुए रायगढ़ विधायक और सूबे के वित्तमंत्री ओपी चौधरी को अडानी से जोड़ते हुए भी बहुत सी बात कही, मगर अपनी बात कहते कहते अशोक वानखेड़े ने रायगढ़ विधायक वित्तमंत्री ओपी चौधरी के बारे में कारपोरेट से जोड़ते हुए एक जगह अमर्यादित टिप्पणी कर दी, इस टिप्पणी से हर उस शख़्स को आहत होना चाहिए जो सभ्य समाज का हिस्सा है और सहमतियों-असहमतियों के साथ ही सही ओपी चौधरी से वास्ता रखता है। (नीचे वीडियो लिंक में 6 मिनट 22 सेकेंड से लेकर 6 मिनट 30 सेकेंड के बीचतक का हिस्सा भाषा के लिहाज से आपत्तिजनक है, जिसे बोलते हुए ख़ुद अशोक वानखेड़े भी थोड़ा झिझके थे लेकिन जब ज़ुबान पर आ ही गया तो बोल दिये)
Newslouncher में अशोक वानखेड़े के वीडियो में एक जगह अमर्यादित टिप्पणी को देखते सुनते 1998 का वो दौर याद आता है, जब रायगढ़ जिला अविभाजित मध्यप्रदेश का हिस्सा था और रायगढ़ जिले की खरसिया विधानसभा क्षेत्र से निर्वाचित होकर नंदकुमार पटेल विधायक बने थे और उन्हें तत्कालीन दिग्विजय सिंह सरकार के केबिनेट में गृह, जेल, परिवहन और विमानन मंत्री का दायित्व मिला था, तब के दौर की राष्ट्रीय स्तर की समाचार पत्रिका में नंदकुमार पटेल को लेकर सिंगल कॉलम की टिप्पणी आई थी, जिसमें उनकी शिक्षा पर सवाल उठाते हुए “भोंदू” जैसे अपमानजनक शब्द का इस्तेमाल किया गया था, इस टिप्पणी के जरिए इंडिया टुडे ने अपने पाठकों को यह जताने की कोशिश की थी कि “नंदकुमार पटेल को अपनी सरकार में महत्वपूर्ण मंत्रालय का जिम्मा देकर दिग्विजय सिंह उन सभी विभागों की कमांड अपने पास ही रखना चाहते हैं।” इस टिप्पणी के साथ प्रकाशित इंडिया टुडे पत्रिका का वितरण देभर में हो गया, मगर रायगढ़ और खरसिया से नंदकुमार पटेल समर्थकों की एक भी प्रतिक्रिया सामने नहीं आई। तब दैनिक रायगढ़ संदेश में गुरूदेव कश्यप और साप्ताहिक बयार में सुभाष त्रिपाठी ने संपादकीय लिखकर इंडिया टुडे में प्रकाशित नंदकुमार पटेल के ख़िलाफ़ की गई अपमानजनक टिप्पणी का प्रतिकार किया, जिसका नतीजा ये हुआ कि रायगढ़ के सत्तीगुड़ी चौक में बशिष्ट बड़ा दुकान के सामने शाम के वक़्त नंदकुमार पटेल समर्थकों ने इंडिया टुडे की प्रतियां जलाकर अपना विरोध प्रकट किया था, इस विरोध प्रदर्शन के दौरान भाजपा ने भी दलगत भावना से ऊपर उठकर रायगढ़ के जनप्रतिनिधि के सम्मान को अहमियत दी थी, फिर अगले अंक में उसी जगह पर इंडिया टुडे का माफ़ीनामा प्रकाशित हुआ, जिस जगह पर ख़िलाफ़ में अमर्यादित टिप्पणी की गई थी।
आज अगर newslouncher के वीडियो के एक छोटे से हिस्से में अशोक वानखेड़े ने हमारे रायगढ़ विधायक ओपी चौधरी के ख़िलाफ़ अशोभनीय टिप्पणी की है तो ऐसी टिप्पणी का प्रतिकार ना केवल भाजपा बल्कि कांग्रेस सहित सभी राजनैतिक दलों और सामाजिक सांस्कृतिक संस्थाओं द्वारा किया जाना ज़रूरी है। अशोक वानखेडे देश के ऐसे पत्रकार और राजनैतिक विश्लेषक हैं जिनके पास भाषा का अथाह भंडार है, इसके बावजूद उनकी किसी रिपोर्ट में भाषा के स्तर पर चूक होती है, सवाल तो खड़े होंगे।
(युवराज सिंह “आज़ाद”, संपादक khabarbayar.com)